गाने को सुनने के बाद लोग कर लेते थे सुसाइड मनहूस बताकर किया बैन

गाने को सुनने के बाद लोग कर लेते थे सुसाइड मनहूस बताकर किया बैन

हंगरी | इंसान भले ही कितना भी परेशान क्यों ना हो, एक अच्छा और सुखद संगीत उसकी हर परेशानी को दूर करने के लिए काफी होता है. हर कोई अपना पसंदीदा गाना सुनना चाहता हैं. वैसे तनाव में तो मन बहलाने के लिए गाना सुनना अच्छा लगता ही है, लेकिन कुछ लोग सैड सॉन्ग सुनना भी पसंद करते हैं. जब कोई प्यार में होता है तो उसे रोमांटिक गाने (Romantic Songs) भागे हैं. आज हम आपको एक ऐसे गाने की बारे में बताने जा रहे हैं जिसे दुनिया का सबसे मनहूस गाना माना जाता है. ऐसा कहा जाता है कि इस गाने को सुनकर लोग खुदकुशी (Suicide) कर लिया करते थे. गाने का खौफ कुछ ऐसा था की इस गाने पर 62 साल तक पाबंदी लगी रही.

बता दें कि हंगरी के एक संगीतकार रेजसो सेरेज ने वर्ष 1933 में 'सैड संडे' या 'ग्लूमी संडे' नामक एक गाना बनाया था. कहा जाता है यह गाना मोहब्बत से जुड़ा हुआ था और उस गाने में इतना दर्द था की सुनने वाले को अपना दर्द याद आ जाता था. जिसके बाद कई लोग इस गाने को सुनकर खुदकुशी कर मर गए. लगातार आत्महत्याओं की घटना के बाद लोग इस गाने को मनहूस मानने लगे और फिर इसे 62 साल के लिए बैन कर दिया गया. खुदकुशी की घटना रोकने के लिए इस गाने को दुबारा से कंपोज किया गया. बावजूद इसके लोगों के खुदकुशी करने का सिलसिला खत्म नहीं हुआ. जिसके बाद इस गाने को साल 1941 में बैन कर दिया गया था. मगर साल 2003 में इस गाने से बैन हटा लिया गया.
 
यह गाना आज भी यू ट्यूब पर है. कई लोग इस गाने को सुनने के बाद यह नहीं समझ पाते हैं कि आखिर इस गाने में ऐसा क्या था जो लोग इस गाने को सुनकर लोग आत्महत्या कर लिया करते थे. बताया जाता है कि इस गाने के लेखक रेजसो सेरेस अपनी प्रेमिका से बेहद प्यार करते थे.
 

प्रेमिका ने छोड़ा साथ

लेकिन जीवन में अपनी पहचान बनाने के लिए संघर्ष कर रहे सेरेस को कामयाबी नहीं मिल रही थी. रेजसो एक अच्छे प्यानो वादक थे और उसी में अपना करियर बनाना चाहते थे. लेकिन जब उन्हें सफलता नहीं मिली तो उनकी प्रेमिका ने उनका साथ छोड़ दिया. अपने प्यार में मिले धोखे ने सेरेस को बहुत बड़ा सदमा लगा. जिसके बाद एक दिन सेरेस ने अपनी प्रेमिका के याद में एक गाना लिखा, जिसे ग्लूमी संडे नाम दिया गया. जिसके बाद ये गाना बेहद प्रसिद्ध हो गया, साथ ही इसके साथ मौतों का सिलसिला भी शुरु हो गया.