भावुक होकर बोले सीएम जब तुम चले जाओगे तो बहुत याद आओगे

भावुक होकर बोले सीएम जब तुम चले जाओगे तो बहुत याद आओगे

इंदौर। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन के समापन अवसर पर 27 भारतवंशियों को विशिष्ट हस्तियों के रूप में सम्मानित किया। उन्होंने प्रवासी भारतीय को एक यूनिक प्लेटफार्म बताया। साथ ही कहा कि भारतवंशियों की एकजुट शक्ति राष्ट्र निर्माण में योगदान होगी। समापन अवसर पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भावुक हो गए। उन्होंने प्रवासी भारतीयों से इस तीन दिनों के कार्यक्रम में हुई असुविधा के लिए क्षमा भी मांगी। उन्होंने कहा कि आज समारोह के समापन पर वे भावुक हैं। इंदौर ने बेटी की शादी जैसी तैयारी की और जब बेटी की विदाई होती है तो मन में तकलीफ होती है। समारोह में तीन-तीन राष्ट्रपति की मौजूदगी से हम गौरवान्वित हैं। सीएम ने कहा कि इंदौर आपसे एकरूप हो गया। ग्लोबल गार्डन में लगाए पेड़ से प्रेम के बंधन में बांधा है। सीएम ने प्रवासी भारतीयों से कहा मप्र लगातार आगे बढ़ रहा है। जाते-जाते निवेदन है कि मप्र को भूलना मत। विदेश में योगदान देना। आपको निवेश नहीं करना हो तो दूसरों से करवाएं। विदाई की बेला है, जब तुम चले जाओगे याद बहुत आओगे। उन्होंने सम्मानित होने वाले लोगों को बधाई दी।

भारतवंशियों की एकजुट शक्ति राष्ट्र निर्माण में योगदान होगी : राष्ट्रपति

राष्ट्रपति मुर्मु ने अपने संबोधन में प्रवासी भारतीयों और पधारे दोनों राष्ट्राध्यक्षों की प्रशंसा करते हुए कहा कि प्रवासी भारतीयों ने अपनी कड़ी मेहनत से देश का नाम रोशन किया है। प्रवासी भारतीय एक यूनिक प्लेटफार्म है। आप लोगों से 3 दिन हुई चर्चा हमारे लिए अमूल्य है। उन्होंने कहा कि प्रवासी भारतीय अलग-अलग देशों में बेहतरीन कार्य कर रहे हैं। उनकी सफलता की बदौलत विदेशी धरती पर भारत की पहचान बन रही है। अगले 25 साल में नए सफर पर भारत है। आपको एकजुट होकर इस शक्ति का राष्ट्र निर्माण में योगदान देना होगा। देश को आजाद हुए 75 साल पूरे हो चुके हैं। इसे अमृत महोत्सव के रूप में मनाया जा रहा है। सरकार ने अगले 25 साल में विकास करने को लेकर रूपरेखा बनाई है, जिसमें भारत को मजबूत किया जाएगा। इसमें प्रवासी भारतीय भी अपना योगदान देकर देश को आगे बढ़ाने में मदद कर सकते हैं। समारोह में स्विट्जरलैंड की प्रवासी भारतीय अर्चना शर्मा ने भी संबोधित किया। 

प्रवासी भारतीयों से विश्व में देश की पहचान बनी: जयशंकर

विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने स्वागत भाषण देते हुए कहा कि इस समारोह में राष्ट्रपति की मौजूदगी से सब गौरवान्वित हैं। उन्होंने कहा कि यह आयोजन सफल रहा। प्रवासी भारतीयों की वजह से देश की पहचान विश्व मंच तक पहुंचती है।

दुनिया बगैर भारत के नहीं बढ़ सकती आगे : सिंधिया

केंद्रीय नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि भारत का कोई भी सपूत कहीं भी रहे वो भारत से जुदा नहीं हो सकता। आपकी साझेदारी भारत को आत्मनिर्भर बनाने में है। रोमानिया में मैंने देखा था, विकट हालात में प्रवासी भारतीय मदद में जुटे थे। भारत के बिना विश्व आगे नहीं बढ़ सकता।