मनी लॉन्ड्रिंग केस में फंसने का झांसा देकर 51 लाख रुपए ठगने वाला आईटी एक्सपर्ट भिलाई से गिरफ्तार

मनी लॉन्ड्रिंग केस में फंसने का झांसा देकर 51 लाख रुपए ठगने वाला आईटी एक्सपर्ट भिलाई से गिरफ्तार

ग्वालियर। एमसीए की डिग्री लेकर आईटी एक्सपर्ट ने जालसाजी का बड़ा नेटवर्क तैयार किया और फिर अनजान लोगों से स्काइप कॉलिंग करने लगा। इस कॉलिंग में वह लोगों को सिम इश्यू, मनी लॉन्ड्रिंग में इन्वॉल्वमेंट की बात कहता और जैसे ही व्यक्ति उसके झांसे में फंसता तो आरोपी उन्हें सीबीआई और ईडी के अरेस्ट ऑर्डर भेज देता था, बाद में वह इन सबके निपटारे और जांच पड़ताल के नाम बतौर सिक्योरिटी मोटी रकम अपने खातों में डलवाकर लाखों का चूना लगाता था।

इस ठग को ग्वालियर पुलिस की साइबर विंग ने भिलाई से गिरफ्तार किया है, जिसके पास से पुलिस को कई आधार कार्ड सहित बड़ी मात्रा में एटीएम और अन्य सामग्री बरामद हुई है। एसपी धर्मवीर सिंह ने बताया कि बीती 17 मार्च को मुरार निवासी रिटायर्ड प्रोफेसर आशा भटनागर ने एक शिकायत की थी कि उनके पास एक अज्ञात व्यक्ति का फोन आया और बोला कि आपके आधार कार्ड पर सिम इश्यू हुई है। इस सिम से कई बच्चियों को अश्लील मैसेज भेजे गए हैं। जिस पर उनके खिलाफ मुंबई पुलिस ने 24 एफआईआर दर्ज की हैं, यदि आपने कोई अपराध नहीं किया है तो आपको अपनी ऑनलाइन एफआईआर करनी होगी।

इस बात पर महिला राजी हुई तो आरोपी ने स्काइप एप्लीकेशन डाउनलोड कराई और मजिस्ट्रेट के सामने ऑनलाइन लीगल स्टेटमेंट देने के लिए वीडियो कॉंिलंग पर कनेक्ट किया। इसी बीच आरोपी ने महिला से मनी लॉन्ड्रिंग के केस की भी बात कही और वह डर गई तो उसे और भयभीत करते हुए सभी खातों की जानकारी लेकर सीबीआई, ईडी के नोटिस पर जांच कराने का झांसा दिया। बाद में आरोपी ने महिला को वीडियो कॉल पर फर्जी पुलिस अधिकारी दिखाकर अरेस्ट करने की बात कही और लाखों की डिमांड की, जिस पर पीड़िता ने अपनी दो एफडी तुड़वाकर आरोपी के बताए खाते में 51 लाख रुपए ट्रांसफर कर दिए।

आखिर में कई दिनों तक महिला ने परिजनों से संपर्क नहीं किया, तब मामले का खुलासा हुआ। जिसके बाद एसपी ने एएसपी शियाज के.एम. के नेतृत्व में साइबर टीम को आरोपी को पकड़ने का टास्क दिया। इस प्रकरण में पुलिस ने पन्द्रह दिन की मेहनत के बाद आरोपी आईटी एक्सपर्ट कुणाल जायसवाल को भिलाई से गिरफ्तार कर लिया। फिलहाल पुलिस ने उसे सात दिन की रिमांड पर लिया है, जिससे पता चला है कि उसने कई लोगों के साथ विभिन्न तरीकों से फ्रॉड कर लाखों की रकम यूएई स्थित अपने खाते में ट्रांसफर की है। पुलिस अब पकड़े गए आरोपी से पूछताछ कर अन्य मामलों के खुलासे में जुट गई है।

पीड़िता को किया था हाउस अरेस्ट

ठगी का शिकार बनाने के लिए आरोपी ने पीड़िता को वीडियो कॉंिलंग पर जांच के दौरान रकम सही पाए जाने पर 24 घंटे में पैसे की वापसी का झांसा दिया था। फिर वीडियो कॉल पर एक कथित पुलिसकर्मी दिखाया जो कि महिला को देखते ही जल्द से जल्द गिरफ्तार करने की बात कहने लगा। इस दौरान उसने पीड़िता के दामाद को पुणे से उठाने की धमकी दी तो वह डर गई और आरोपी के बताए खाते में 51 लाख रुपये ट्रांसफर कर दिए।

15 दिन की मेहनत के बाद दबोचा जालसाज

एसपी के निर्देश पर तहकीकात में जुटी साइबर टीम को पता चला कि जिन नम्बरों से पीड़िता को कॉल किया गया वह एप के माध्यम से दिखाए गए नंबर हैं और जिन खातों में रुपये ट्रांसफर हुए वे खाते जम्मू कश्मीर व गुजरात के हैं। इसके साथ ही मालूम हुआ कि इन दोनों खातों से रुपये अलग-अलग कई खातों में स्थानांतरित हुए और फिर उन खातों से रकम संयुक्त अरब अमीरात के एक खाते में भेजी गई। जिसके बाद पता चला कि यूएई के जिस खाते में पैसे ट्रांसफर हुए भिलाई छत्तीसगढ़ के रहने वाले कुणाल जायसवाल का है, जिसने यूएई में कम्पनी खोल रखी है। यह पता चलते ही पुलिस भिलाई पहुंची और जालसाज को गिरफ्तार कर ले आई।

खुलासे में यह टीम रही शामिल

साइबर फ्रॉड के इस प्रकरण का खुलासा करने वालों में क्राइम ब्रांच टीआई अजय पंवार, उनि कीर्ति अजमेरिया, उनि धर्मेन्द्र शर्मा, उनि हरेन्द्र सिंह राजपूत, उनि रवि लोधी, प्रआर. सुनील शर्मा, दिनेश सिंह राजावत, सतेन्द्र कुशवाह, सुरेन्द्र तोमर, आरक्षक शिवशंकर शुक्ला, सुमित सिंह भदौरिया, ओमशंकर सोनी, गौरव पवार, श्यामू मिश्रा, नवीन पाराशर, कपिल पाठक, जेनेन्द्र गुर्जर, शिवकुमार यादव, सोनू प्रजापति, महिला आरक्षक सुनीता कुशवाह, मेघा श्रीवास्तव की सराहनीय भूमिका रही।

आरोपी निकला हाईप्रोफाइल

महिला से जालसाजी करने वाले आरोपी के परिवार के भिलाई में कई व्यापार हैं, ऐसे में उसके यहां कई कर्मचारी काम करते हैं। जिनके डॉक्यूमेंट पर आरोपी ने कई खाते खोलकर यह गोरखधंधा जमा रखा था। जोकि सभी कर्मचारियों के खाते ऑपरेट करके रकम यूएई भेजता था। इसके पास से पुलिस को यूएई की ई-आईडी (आधार कार्ड) भी मिला है। साथ ही पुलिस ने उसके कब्जे से कई व्यक्तियों के आधार कार्ड, एटीएम कार्ड, पासबुक, चेकबुक, मोबाइल फोन, लेपटॉप, आईपैड व अन्य दस्तावेज बरामद किये हैं।