पिछले साल की बारिश का मंजर याद कर कांप उठते हैं कुचबंधिया मोहल्लावासी

पिछले साल की बारिश का मंजर याद कर कांप उठते हैं कुचबंधिया मोहल्लावासी

जबलपुर । आज भी जब पिछले साल की बारिश याद आती है तो घमापुर की कुचबंधिया,कोरी मोहल्ला के रहवासी कांप जाते हैं। कई दिन तक घरों में पानी भरा रहा,चूल्हे नहीं जले,नाले का पानी घरों में भरने से दुर्गन्ध और गंदगी का आलम बना रहा था,अब फिर बारिश का मौसम है,अभी तक मानसून की टेढ़ी नजरें शहर की ओर नहीं आई हैं मगर यदि भारी बारिश होती है तो वहीं हालत फिर न हो इसकी आशंका यहां के लोगों को सता रही है। 15 सौ परिवारों बस्ती वाले कुचबंधिया और चौधरी मोहल्ले से गुजरने वाले नाले को बेहद संकरा कर दिया गया है जिसके चलते जब भी भारी बारिश होती है तो यह नाला ओवर फ्लो हो जाता है। आगे जाकर यह नाला मोतीनाला में मिलता है। कुचबंधिया मोहल्ले में जलप्लावन के बाद ये नाला निचाई पर बसी चौधरी बस्ती की ओर जाकर तबाही मचा देता है।

तत्कालीन कैबिनेट मंत्री ने दिए थे नाला तोड़ने के आदेश

तत्कालीन केबिनेट मंत्री लखन घनघोरिया जो कि क्षेत्रीय विधायक भी हैं ने यहां जाकर नाले को तोड़कर फिर से चौड़ा करवाने के लिए आदेश दिए थे। अब तक इस दिशा में प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं की है। यहां पर जल प्लावन न हो इसके लिए भी कोई एहतियात नजर नही आ रहा है। यहां के सैकड़ों परिवारों को यही अंदेशा सता रहा है कि कहीं पिछले साल जैसी स्थितियों से न गुजरना पड़े।

चौधरी मोहल्ला ढलान पर मुसीबत ज्यादा

यहीं पर आगे करीब 5 सौ परिवारों का चौधरी मोहल्ला है। यह ढलान पर होने के कारण नाले का फोर्स बेहद तेज होता है जो कि यहां के मकानों में भर जाता है,मकानों में 3 से 5 फीट पानी भर जाना सामान्य बात होती है ऐसे में सब सामान खराब हो जाता है। सबसे तेज बारिश से सबसे ज्यादा यही के लोग भयभीत हैं। यहां के कई मकान कच्चे हैं जिनमें दरारें आ जाती हैं। जलप्लावन के शिकार भी यही बनते हैं।

कुछ हिस्सा किया ओपन

यहां के कवर्ड नाले का कु छ हिस्सा जरूर प्रशासन ने तात्कालिक राहत बतौर उस वक्त तुड़वा कर ओपन किया था जिससे हल्की ही राहत मिल पाई थी। लोगों का कहना है कि जब तक इस नाले को पूरी तरह से ओपन कर पहले जैसा चौड़ा नही किया जाएगा पानी भरने की समस्या बनी रहेगी।