भोज यूनिवर्सिटी में फोर्थ क्लास को बना दिया सेकंड क्लास ऑफिसर

भोज यूनिवर्सिटी में फोर्थ क्लास को बना दिया सेकंड क्लास ऑफिसर

भोपाल ।  भोज विवि में चार कर्मचारियों को द्वितीय श्रेणी का अधिकारी बनाए जाने के मामले में ईओडब्ल्यू ने जांच शुरू कर दी है। मामला वर्ष-2003 में हुई नियुक्तियों और इसके बाद वर्ष-2013 में रेगुलर करने का है। जबकि वे प्रमोशन के हकदार नहीं थे। विवि ने इसकी जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी भी गठित की है। ईओडब्ल्यू में शिकायत हुई है कि शैलेन्द्र कौशिक की नियुक्ति पीईटीसी योजना में 5,000 रु मासिक वेतन में हुई थी। 2008 में बर्खास्त कर दिया गया। इसके बाद उन्हें 400 रुपए दिन पर सलाहकार और उसके छह माह बाद 150 रुपए दिन पर सुरक्षा गार्ड पद पर रखा गया। वर्ष 2013 में रेगुलर कर सीधे सहायक निदेशक बना दिया गया। शिकायत के बाद हुए बर्खास्तगी के बाद मामला हाईकोर्ट में विचाराधीन है। इसी तरह एजेड खान पर आरोप है कि उनका शासन की बिना अनुमति के पद परिवर्तन किया गया। सहायक निदेशक ज्योति पराशर की नियुक्ति वर्ष-2003 में बीएड की डिग्री नहीं होने के बाद भी बीएड शिक्षा विभाग में की गई। वहीं बिना पीएचडी के हेमलता दिनकर की 2003 में नियुक्ति का मामला भी ईओडब्ल्यू में दिया गया है।

तीन सदस्यीय कमेटी गठित

ईओडब्ल्यू को पत्र मिला है, जिसमें चार अधिकारियों की नियुक्ति के बारे में जानकारी मांगी गई है। हमने तीन सदस्यीय कमेटी गठित कर दी है। कमेटी की रिपोर्ट आने के बाद ईओडब्ल्यू को पूरी जानकारी भेज दी जाएगी। -डॉ. एच.एस. त्रिपाठी, रजिस्ट्रार, भोज मुक्त विवि