युवा क्रिकेटरों को नस्लवाद को लेकर शिक्षा दे आईसीसी

युवा क्रिकेटरों को नस्लवाद को लेकर शिक्षा दे आईसीसी

नई दिल्ली। वेस्टइंडीज के पूर्व कप्तान डैरेन सैमी ने कहा है कि अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) जिस तरह भ्रष्टाचार विरोधी और डोपिंग के बारे में जागरुकता फैलाता है, वैसे ही उसे युवा क्रिकेटरों को नस्लवाद के खिलाफ शिक्षित करना चाहिए। दो बार के टी-20 विश्वकप चैंपियन टीम के कप्तान सैमी ने कहा, ‘‘इस विषय के संबंध में व्यवस्थित स्तर पर शिक्षा की जरूरत है। जिस तरह डोपिंग और भ्रष्टाचार के खिलाफ शिक्षा दी जाती है उसी तरह युवाओं को नस्लवाद के खिलाफ शिक्षित करने पर जोर दिया जाना चाहिए। इससे युवा क्रिकेटर क्रिकेट में विविधता को समझ सकेंगे और अपने करियर के शुरू में ही इसे आत्मसात कर सकेंगे।’’ सैमी ने यह बातें अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) के कार्यक्रम ‘इंटरव्यू इनसाइड आउट’ के दौरान कही, जिसका संचालन वेस्टइंडीज के पूर्व तेज गेंदबाज इयान बिशप ने किया। इसमें इंग्लैंड की महिला क्रिकेटर ईशा गुहा, दक्षिण अफ्रीका के पूर्व ऑलराउंडर जेपी डुमिनी, ऑस्ट्रेलियाई ऑलराउंडर टॉम मूडी और पाकिस्तान के बाजिद खान ने भी हिस्सा लिया।

आईपीएल में नस्लभेदी टिप्पणियों का किया था दावा- सैमी ने इस महीने की शुरुआत में दावा किया था कि इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में सनराइजर्स हैदराबाद की तरफ से खेलते हुए टीम के साथी उनपर नस्लभेदी टिप्पणियां करते थे। उन्होंने अपने साथियों से इस पर माफी मांगने के लिए भी कहा था।

सभी को शिक्षित करना बड़ी जिम्मेदारी: टाम मूडी 

नस्लवाद पर अपने विचार साझा करते हुए दो बार के विश्वकप विजेता टॉम मूडी ने कहा, ‘‘हमारे क्रिकेट समुदाय के नेतृत्वकर्ताओं जिसमें कप्तान, सीनियर खिलाड़ी, कोच, प्रशासक, खिलाड़ी आदि शामिल हैं , की उन सभी को शिक्षित करने की हमारी बड़ी जिम्मेदारी है।’’ मूडी ने कहा, ‘‘अगर इससे कुछ सकारात्मक चीजें बाहर आयी हैं, तो हमारा इस ओर ध्यान आकर्षित कराया गया कि हमें इस बारे में बहुत अधिक समझ होनी चाहिए कि हम इसे कैसे बेहतर बना सकते हैं।’ इंग्लैंड की पूर्व क्रिकेटर और अब ब्रॉडकास्टर बन चुकी ईशा गुहा ने कहा कि यह बदलाव का अवसर है और इस विषय पर उन्होंने इंग्लैंड टीम की विविधता का उदाहरण दिया। गुहा ने कहा, ‘‘हमारे पास क्रिकेट के साथ ही यह एक अवसर है क्योंकि यह खेल विभिन्न नस्लों, पृष्ठभूमि और धर्मों को पार करता है और सभी विभिन्न लोगों को एक साथ लाता है।’’ गुहा ने कहा, ‘‘यह खेल ही है जो वास्तविकता में सबको एकजुट करता है।

भारतीय ओलपिंक संघ में मतभेद जारी

नई दिल्ली। भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) के अध्यक्ष नरिंदर बत्रा ने सोमवार को महासचिव राजीव मेहता को आईओए वेबसाइट पर एसोसिएट सदस्यों के नामों को बहाल करने को कहा। एक अधिकारी ने अपना नाम हटाए जाने की शिकायत की थी। आईओए वेबसाइट पर नौ उपाध्यक्षों, छह संयुक्त सचिवों और 10 कार्यकारी सदस्यों के नाम दर्ज हैं। बत्रा ने मेहता को कार्यकारी परिषद में शामिल एसोसिएट सदस्यों के नाम भी वेबसाइट पर दोबारा डालने को कहा है। एसोसिएट सदस्यों की भूमिका सीमित होती है, क्योंकि वे किसी मुद्दे पर कार्यकारी परिषद की बैठक में सर्वसम्मति न होने पर मतदान नहीं कर सकते हैं।