श्रावण के महीने में निकलने वाली कांवड़ यात्रा व शाही सवारी पर कोरोना का साया

जबलपुर । कोरोना के कारण इस बार का श्रावण माह कहीं फीका न पड़ जाए। दरअसल श्रावण मास में संस्कारधारी धर्ममय होती है और भक्तों द्वारा शहर भर में अनेक धार्मिक अनुष्ठान एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम किए जाते हैं। शहर में निकाली जाने वाली कांवड़ यात्राएं एवं शाही सवारी की अलग पहचान है। खास कर श्रावण सोमवार को गुप्तेश्वर महादेव मंदिर, कचनार सिटी वाले भोलेनाथ के दरबार में उमड़ने वाली हजारों भक्तों की भीड़ के साथ शारदा माता मंदिर में लगने वाले मेला जैसे भव्य आयोजनों को इस बार कोरोना संक्रमण का काला साया प्रभावित क र सकता है। ज्योतिषार्चों के अनुसार इस बार श्रावण मास का प्रारंभ सोमवार से हो रहा है एवं समापन भी सोमवार को ही होगा। इसलिए श्रावण मास में इस बार 5 श्रावण सोमवार होने से यह और भी पुण्यदायक हो गया है। श्रावण मास का शुभारंभ 6 जुलाई से हो रहा है और समापन 3 अगस्त को होगा।
प्रदेश में फैल चुकी है ख्याति
श्रावण सोमवार में ग्वारीघाट से मटामर तक निकाली जाने वाली संस्कार कांवड़ यात्रा की ऐतिहासिकता एवं भव्यता अब शहर के साथ-साथ पूरे प्रदेश व देश में फै ल चुकी है। पिछली बार कांवड़ यात्रा में हजारों भक्तों की भीड़ ने नया रिकॉर्ड बनाया था। इसके साथ ही ग्वारीघाट से गुप्तेश्वर महादेव मंदिर तक भी प्रत्येक सोमवार को अनेक कांवड़ यात्राओं का भी अपना एक विशिष्ट महत्व व स्थान है। वहीं कचनार सिटी विजय नगर में स्थापित भगवान शिव की भव्य प्रतिमा के दर्शन तथा पूजन के लिए सबसे ज्यादा भक्तों की भीड़ पहुंचती है। खास कर श्रावण सोमवार में यहां सुबह से रात तक भक्तों की संख्या करीब 50 हजार तक पहुंच जाती है।