लाखों की हैक्सी साईकिलें सड़ रहीं कांजी हाउस में, 5 करोड़ से बनाया साईकिल ट्रैक भी बेमतलब

लाखों की हैक्सी साईकिलें सड़ रहीं कांजी हाउस में, 5 करोड़ से बनाया साईकिल ट्रैक भी बेमतलब

जबलपुर । फिटनेस और पर्यावरण संतुलन को कायम रखने के लिए लोग साईकिलिंग की ओर आएं इस अच्छे उद्देश्य के साथ स्मार्ट सिटी ने शहर में आधा सैकड़ा साईकिल स्टैंड बनाए,5 करोड़ रुपए से साईकिल ट्रैक का निर्माण करवाया मगर यह योजना चंद महीनों में ही बंद हो गई। इसके पीछे कंपनी को होने वाले घाटे के अलावा आपराधिक तत्वों के द्वारा हैक्सी साईकिलों को नुकसान पहुंचाना भी बताया गया।अब आलम यह है कि सैकड़ों हैक्सी साईकिलें कांजी हाउस में पड़ी सड़ रही हैं। शहर में करीब 700 साईकिलें आई थीं। इन्हें शहर के 40 हैक्सी स्टेंडों पर 10-10 की संख्या में रखा गया था। इन्हें चलाने के लिए आॅन लाइन बुकिंग की व्यवस्था की गई थी। इसका किराया भी मामूली रखा गया था 5 रुपए में आधे घंटे और 1 घंटे 10 रुपए शुल्क रखा गया था। इसके लिए एप डाउनलोड करना अनिवार्य किया गया था। शहर में करीब 7 हजार लोगों ने इस एप को डाउनलोड किया था। शहर के युवाओं और किशोरों में यह व्यवस्था बेहद लोकप्रिय मानी जाने लगी थी।

ऐसे लगा ग्रहण

जैसा कि हर कहीं होता है जहां अच्छी पहल प्रारंभ होती हैं तो कुछ विघ्नसंतोषी भी होते हैं जिन्हें अच्छी चीजें नहीं सुहातीं। कई ऐसे तत्व सक्रिय हो गए जो सुरक्षा विहीन हैक्सी स्टैंडों पर खड़ी साईकिलों में से सामान निकालकर ले गए। किसी ने सीट निकाली तो किसी ने अन्य सामान ऐसे में इस मुहिम को धक्का लगा। इसके बाद जिस तरह के मुनाफे की उम्मीद कंपनी ने की थी वह नहीं हुई और कंपनी ने इस काम से किनारा कर लिया।

आधा-अधूरा एनएमटी

4.32 करोड़ रुपए लगाने के बावजूद कटंगा से ग्वारीघाट तक बनाए जाने वाला एनएमटी अधूरा है। जहां तहां यहां पर फुटपाथी दुकानदार कब्जा कर चुके हैं। दिखावे के लिए कभी-कभार इन्हें खदेड़ा जाता है तो दूसरे दिन वे वहीं फिर काबिज हो जाते हैं। एनएमटी किसी उपयोग में नहीं आ रहा है। कम से कम जिस उपयोग से इसका निर्माण किया गया था कि यहां से साईकिल चलेंगी उसमें तो कतई नहीं।

हैक्सी कंपनी का था प्रोजेक्ट, राशि राजसात

स्मार्ट सिटी से मिली जानकारी के अनुसार यह प्रोजेक्ट पीपीपी के तहत था जिसमें हैक्सी कंपनी ने टैंडर लिया था। बाद में कंपनी ने सेवा से इंकार कर दिया जिसके बाद उनकी अमानत राशि राजसात कर ली गई।