संसद का मानसून सत्र 14 सितंबर से, संसद में एंट्री से पहले प्रधानमंत्री को भी देना होगा नो-कोविड सर्टिफिकेट

संसद का मानसून सत्र 14 सितंबर से, संसद में एंट्री से पहले प्रधानमंत्री को भी देना होगा नो-कोविड सर्टिफिकेट

नई दिल्ली। संसद का मानसून सत्र 14 सितंबर से शुरू होने वाला है। लेकिन मानसून सत्र में कोरोना के कारण कई बदलाव होने वाले हैं। ये बदलाव 1952 से अब तक के संसदीय इतिहास में पहली बार देखने को मिलेंगे।

मार्च में हुए बजट सेशन को कोविड-19 के कारण जल्दबाजी में समेट लिया गया था। तब अब तक कई विधाई कार्य अटके हुए हैं। इसी वजह से संसद सत्र बुलाना आवश्यक हो गया था। कोविड-19 को देखते हुए विशेष इंतजाम किए गए हैं। 

इस सत्र में सांसदों को तभी संसद परिसर में एंट्री मिलेगी जब 72 घंटे पहले की जांच में उनकी और उनके स्टाफ की कोविड टेस्ट रिपोर्ट निगेटिव होगी। साथ ही उनके परिजनों, ड्राइवर और घरेलू नौकर की भी टेस्ट रिपोर्ट का निगेटिव होना आवश्यक होगा। सांसदों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, कैबिनेट और राज्यमंत्री के साथ-साथ विपक्ष के दिग्गज नेता भी शामिल हैं। यदि सांसद पॉजिटिव आया तो उसे अस्पताल भेजा जाएगा। इसके लिए लागू निदेर्शों का पालन किया जाएगा। लेकिन, यदि सांसद निगेटिव है और स्टाफ पॉजिटिव तो सांसद को 14 दिन के सेल्फ क्वारैंटाइन पीरियड पर रहना होगा। सांसदों को यह छूट होगी कि वे यह टेस्ट अपने संसदीय क्षेत्र में या संसद परिसर में करा सकते हैं। संसद में 11 सितंबर के बाद रिसेप्शन पर ही टेस्टिंग प्रक्रिया शुरू होगी। स्टाफ के लिए विशेष टेस्टिंग कैम्प आयोजित किया जा रहा है।

लोकसभा और राज्यसभा की बैठकें आम तौर पर साथ होती हैं। इस बार उनके लिए अलग-अलग समय तय किया गया है। सोशल डिस्टेंसिंग नियमों का पालन करने के लिए पहली बार एक सदन की बैठक में दोनों सदनों के चैम्बर और गैलरी का इस्तेमाल होगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पूर्व प्रधानमंत्री और कुछ मंत्री राज्यसभा चैम्बर में बैठेंगे। इसके अलावा सदन के नेता, सदन में विपक्ष के नेता और अन्य पार्टियों के नेताओं को राज्यसभा के चैम्बर में ही बिठाया जाएगा।
दोनों सदनों की टाइमिंग भी अलग-अलग होगी। पहले दिन लोकसभा की कार्यवाही सुबह नौ से दोपहर एक बजे तक चलेगी। 15 सितंबर से एक अक्टूबर तक लोकसभा की बैठक दोपहर तीन बजे से शाम 7 बजे तक चलेगी।
इसी तरह 14 सितंबर को राज्यसभा की बैठक दोपहर तीन बजे से सात बजे तक होगी। 15 सितंबर से इसकी टाइमिंग सुबह 9 बजे से दोपहर एक बजे तक चलेगी। एक से तीन बजे तक के ब्रेक का इस्तेमाल दोनों चैम्बरों को डिसइंफेक्ट करने में किया जाएगा।
दोनों सदनों के सचिवालयों ने साफ-साफ कहा है कि मानसून सत्र में प्रश्नकाल नहीं होगा और शून्यकाल भी सीमित किया गया है।