मूसेवाला व अतीक हत्याकांड में इस्तेमाल हुई जिगाना पिस्टल के सौदागर सहित चार पकड़े

मूसेवाला व अतीक हत्याकांड में इस्तेमाल हुई जिगाना पिस्टल के सौदागर सहित चार पकड़े

ग्वालियर। देश के सनसनीखेज हत्याकांड पॉप सिंगर सिद्धू मूसेवाला और बाहुबली अतीक अहमद की हत्या में इस्तेमाल हो चुकी ऑटोमैटिक बर्स्ट पिस्टल जिगाना का सौदागर शहर में पिस्टले खपाने आया था। हथियारों के तस्करों से पुलिस ने तीन तरह की पिस्टल की बरामद की है जिन्हें वह पंजाब से लाकर शहर में फिराक में था। लेकिन डील होते समय फुलप्रूफ इनफोरमेशन पर क्राइम ब्रांच ने दबिश देकर तस्करों को दबोच लिया, जिनके के पास से पुलिस को दस पिस्टल और महत्वपूर्ण सूचना मिली है। ऐसे में पुलिस अब तस्करों से मिले इनपुट पर काम करने जुट गई है।

लोकसभा चुनाव से पहले एंटी आर्म्स ऑपरेशन के तहत कार्रवाई कर क्राइम ब्रांच ने शहर से बड़ा खतरा टाल दिया है। इस ऑपरेशन के तहत पुलिस ने 9 एमएम, 30 बोर व 32 बोर की दस पिस्टल पकड़ी है। यह पिस्टले अन्य हथियारों के बदले ज्यादा महंगी है जिनकी कीमत एक से डेढ़ लाख के बीच होना बताई गई है। हैरत की बात यह है कि पुलिस के हत्थे चढ़े सौदागर रामवीर गुर्जर के पास विदेशी जिगाना पिस्टल भी रखता है। जिसका इस्तेमाल देश के बहूचर्चित सिंगर सिद्धू मूसेवाला की हत्या के बाद बाहुबली अतीक अहमद के मर्डर में किया जा चुका है। वहीं एक साथ दस पिस्टल पकड़े जाने पर पुलिस के सामने गंभीर सवाल खड़े हो गए है। जिसमें हथियारों का किन हाथों में जाना और किस वारदात को अंजाम देना अब पुलिस के लिए टास्क बन गया है।

देश के कुख्यात गैंगस्टर की पहली पसंद जिगाना

बता दें कि तुकी आर्म्स फैक्ट्री टिसास में बनने वाली जिगाना पिस्टल देश के कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और नीरज बवाना सहित काला जखेड़ी गैंग की पहली पसंद है। इन गैंगस्टरों ने कई हत्याकांड में इसी खतरनाक पिस्टल से वारदातों को अंजाम दिया है। इसकी कीमत चार लाख है जबकि ब्लैक मार्केट में यह 10-12 लाख रुपए तक आती है।

एंटी आर्म्स ऑपरेशन में यह टीम शामिल

तस्करों को पकड़ने में टीआई क्राइम ब्रांच अजय सिंह पंवार, उनि राजीव सोलंकी, उनि दिव्या तिवारी, उनि रजनी रघुवंशी, प्रआर जितेन्द्र तिवारी, दिनेश राजावत, आर. अरुण पवैया, रामवीर सिंह, प्रमोद शर्मा, देवेश कुमार, सुमित शर्मा, रणवीर शर्मा, देवव्रत तोमर, अभिषेक यादव, सहित साइबर टीम से जैनेन्द्र गुर्जर, कपिल पाठक, सोनू प्रजापति की सराहनीय भूमिका रही।

जिगाना के साथ हथियारों का सौदागार रामवीर

जिगाना एक ऑटोमैटिक पिस्टल है जो तुर्की में बनती है । ये कभी जाम नहीं होती और एकाएक नौ से 15-17 राउंड तक बिना रूके फायर कर सकती है। हाल ही में इस खतरनाक पिस्टल की पंजाब में रेप्लिका बनाई जा रही है। जहां से देश भर में इसकी सप्लाई जारी है। यह शूटर्स की पहली पसंद है। पुलिस के हत्थे चढ़े रामवीर का भी जिगाना के साथ कनेक्शन मिला है। ऐसे में पुलिस खतरनाक हथियार के संबंध में आरोपी से पूछताछ कर रही है।

ऐसे पकड़े गए तस्कर

एसपी धर्मवीर सिंह ने बताया कि झांसी-मुरैना हाईवे स्थित जय गुरूदेव आश्रम पर हथियारों की डील होने की सूचना मिली थी। इस सूचना पर क्राइम ब्रांच टीम को तस्करों की धरपकड़ का टास्क दिया गया। ऐसे में क्राइम ब्रांच की टीम जब जय गुरुदेव आश्रम के सामने पहुंची तो वहां मुखबिर के बताए हुलिए जैसे चार लोग एक बुलेट मोटरसाइकिल के पास खड़े दिखे। जिनमें से दो खरीदार और दो सौदागारथे इन्हें पुलिस ने मशक्कत के बाद घेराबंदी कर पकड़ लिया, पूछताछ में आरोपियों ने अपना नाम रामवीर सिंह निवासी डबरा, राकेश गुर्जर निवासी चिटौली डबरा, हरप्रीत सिंह निवासी ग्राम इटायल डबरा चौथे ने सोनू गौर निवासी शिवनगर घोसीपुरा बताया। इनके पास से पुलिस को 32 बोर की 8 पिस्टल मय 2जिंदा राउण्ड, 9 एमएम बोर की 1 पिस्टल मय 1 जिंदा राउण्ड तथा 30 बोर की एक पिस्टल मय 1 जिंदा राउण्ड मिला। आरोपियों ने बताया कि वह पहले भी वह पंजाब से दो बार देशी पिस्टलों का जखीरा लाकर बेच चुके है और इस बार वह ऑटोमैटिक बेचने आए थे।